सरकार की नई योजना से मिलेगा मेधावी छात्रों को बिना गारंटी के सस्ता शिक्षा लोन
केंद्र सरकार ने मेधावी छात्रों को सस्ती दर पर शिक्षा लोन देने के लिए प्रधानमंत्री विद्यालक्ष्मी योजना को मंजूरी दी है। इससे देश के आर्थिक रूप से कमजोर छात्रों को उच्च शिक्षा हासिल करना अब आसान होगा।
केन्द्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने प्रधानमंत्री विद्यालक्ष्मी योजना को मंजूरी दिए जाने पर ख़ुशी जाहिर की। उन्होंने कहा कि देश के एक लाख मेधावी छात्रों को अब 10 लाख रुपये तक का लोन बिना किसी गारंटी के मिलेगा। इसमें 03 प्रतिशत की रियायत भी शामिल होगी, जिससे छात्रों के परिवारों पर लोन की अतिरिक्त बोझ कम होगा।
इस योजना के तहत हर साल 22 लाख छात्र लाभान्वित होंगे। इसके तहत एनआईआरएफ रैंकिंग वाले 860 शीर्ष संस्थानों में पढ़ने वाले छात्रों को ट्यूशन, हॉस्टल और किताबों के लिए आर्थिक मदद मिलेगी।
धर्मेंद्र प्रधान ने बताया कि योजना का उद्देश्य गरीब और वंचित छात्रों को उनके सपनों को पूरा करने में मदद करना है। 08 लाख रुपये तक की पारिवारिक आय वाले छात्र इस योजना के पात्र होंगे और 7.5 लाख रुपये तक के ऋण पर 75 प्रतिशत तक क्रेडिट गारंटी का लाभ उठा सकेंगे। इस योजना के लिए 3,600 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है।
छात्रों को शिक्षा लोन के लिए डिजिटल आवेदन प्रक्रिया के जरिए सरलता से आवेदन करने का अवसर मिलेगा, और यह सभी बैंकों के लिए एक समान होगा। योजना का मकसद है कि गांव और छोटे कस्बों के छात्र भी बिना किसी रुकावट के उच्च शिक्षा हासिल कर सकें।
धर्मेंद्र प्रधान ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के ‘विकसित भारत’ के सपने की दिशा में यह योजना एक महत्वपूर्ण कदम है। इसका उद्देश्य उच्च शिक्षा तक पहुँच को आसान बनाना है, खासकर ग्रामीण और गरीब परिवारों के मेधावी बच्चों के लिए।
मुख्य बिंदु:
- 10 लाख तक का शिक्षा लोन, 03 प्रतिशत ब्याज रियायत के साथ
- बिना गारंटी और गारंटर के मिलेगा लोन
- 860 उच्च शिक्षा संस्थानों के छात्रों को मिलेगा लाभ
- 22 लाख छात्रों को हर साल होगा लाभ
- डिजिटल और पारदर्शी आवेदन प्रक्रिया
PM Vidhyalakshmi Scheme: Affordable Education Loan Without Collateral for Meritorious Students
The central government has approved the PM Vidhyalakshmi Scheme to offer affordable education loans to talented students. This scheme aims to make higher education accessible for economically weaker students across the country.
Union Education Minister Dharmendra Pradhan expressed happiness over the approval of the PM Vidhyalakshmi Scheme, which is designed to help meritorious students secure affordable education loans. Under this scheme, one lakh talented students across the country can now avail loans up to ₹10 lakh without any collateral requirement, with an additional 3% interest concession to reduce financial pressure on families.
Each year, over 22 lakh students will benefit from this scheme, targeting students enrolled in the top 860 institutions ranked by NIRF. The scheme will support expenses such as tuition fees, hostel fees, and books for students pursuing studies at these premier institutions.
The Education Minister emphasized that the scheme is dedicated to helping underprivileged and meritorious students achieve their academic dreams. Students from families with an annual income of up to ₹8 lakh will be eligible, and loans up to ₹7.5 lakh will be backed with a 75% credit guarantee. For this initiative, a budget of ₹3,600 crore has been allocated.
Students can apply for loans through a straightforward digital application process, which will be uniform across all banks. This scheme’s main goal is to ensure that students from rural and small-town backgrounds can also pursue higher education without hurdles.
Dharmendra Pradhan stated that the PM Vidhyalakshmi Scheme is a significant step towards Prime Minister Narendra Modi’s vision of a “Developed India.” It aims to make quality education more accessible, especially for talented students from rural and economically weaker families.
Key Points:
- Education loan up to ₹10 lakh with 3% interest subsidy
- No collateral or guarantor required for loan
- Benefits for students in the top 860 higher education institutions
- 22 lakh students to benefit each year
- Transparent, digital application process